मेष राशि नाम अक्षर
मेष राशि का स्वामी – मंगल
राशि के अक्षर – चू , चे , चो , ला , ली , लू , ले , लो ,आ
दिनांक – २१ मार्च से २० अप्रैल
मेष राशि
‘मेष राशि’, राशियों में प्रथम राशि है। अंग्रेजी में मेष राशि को ‘Aries’ बोला जाता है। मंगल ग्रह मेष राशि के स्वामी ग्रह होते है।
मेष राशि के जातक स्वाभाव से साहसी, आत्मविश्वासी, और मजबूत इरादों के होते है। सबसे मिलकर रहने वाले होते है, स्वाभाव मिलनसार होते है। ऐसा देखा गया है की मेष जातक सामाजिक कार्यों से वे दूर ही रहते है और धार्मिक कार्यों में भी ज्यादा रूचि नहीं रखते।
मंगल ग्रह का रत्न लाल मूंगा
मेष राशि का स्वामी ग्रह मंगल है। मंगल ग्रह का रत्न लाल मूंगा होता है, इसलिए मेष राशि के जातकों को अपनी राशि के स्वामी ग्रह का रत्न लाल मूंगा धारण करना बहुत लाभकारी होता है।
अगर लाल मूंगा धारण करने में असमर्थ है तो लाल मूंगे का उपरत्न लाल ओनेक्स या लाल हकीक भी धारण किया जा सकता है
अगर लाल मूंगा के सम्बन्ध में जाना जाए, तो यह रत्न अन्य रत्नों तरह खदान से निकलने वाला रत्न नहीं है, लाल मूंगा समुद्र की गहराइयों से प्राप्त होने वाला एक जैविक रत्न है। यह एक प्रकार के कीड़े द्वारा बनाया गया रत्न है, इसकी रासायनिक रचना “कैलशियम कार्बोनेट”होती है।
मंगल ग्रह का रंग लाल है, इसलिए लाल मूंगा मंगल ग्रह की ऊर्जाओं का संचालन करता है। लाल मूंगा का रंग गहरा लाल, लाल, सिंधूरी और सफ़ेद होता है।
ज्योतिष शास्त्र में ऐसी मान्यता है की, लाल मूंगे में देवीय शक्तियों का वास होता है, और लाल मूंगा धारण करने से मंगल ग्रह के समस्त शुभ प्रभाव प्राप्त होते है और समस्त दोष शांत होते है।
लाल मूंगा धारण करने से शारीरिक लाभ भी प्राप्त होते है, जैसे की इस रत्न को धारण करने से शरीर में खून बढ़ता है, और खून की अशुद्धियाँ साफ होती है।
अगर किसी व्यक्ति से कोई शत्रुता रखता है, या उसके आस पास कई गुप्त शत्रु है, शत्रु हावी हो रहे है, शत्रुओं से भय हो रहा है, तो ऐसे में लाल मूंगा धारण करने से शत्रुओं का नाश होता है।
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मेष राशि के जातकों के लिए लाल मूंगा एक भाग्यशाली रत्न है, लाल मूंगा मेष जातकों के भाग्य को जागृत करता है। कारोबार में बढ़ोत्तरी करता है, आर्थिक उनत्ति देता है, सामाजिक मान सम्मान देता है,
लाल मूंगा में देवीय शाक्यि होने से इसे धारण करने से किसी भी तरह के जादू-टोने, भूत-प्रेत आदि का प्रभाव नहीं पड़ता है। इसलिए , पुराने समय में छोटे बच्चों को लाल मूंगा गले में पहनाया जाता था।
इस रत्न के धारण से व्यक्ति में आत्मबल बढ़ता है और आगे बढ़ने का साहस मिलता है।
लाल मूंगा ५,६, या ७ कैरट के कम का धारण नहीं करना चाहिए। केवल ताम्बे, सोने, या अष्टधातु में ही धारण करना चाहिए।
मंगलवार को अनामिका ऊँगली में धारण करे।
लाल मूंगा धारण किये गए दिन से 3 वर्ष 3 दिन तक प्रभावी रहता है।
मेष राशि का जीवन
मेष राशि अग्नि तत्व राशि होती है। लाल और पीले रंग वर्ण वाली होती है। कांति हीन होती है। पुरुष जाति की होती है , क्षत्रिय-वर्ण होता है, -संज्ञक,अलप-संततिवान, पित्त-प्रकृतिकारक एवं पूर्व दिशा की स्वामी होती है।
मेष राशि स्वभाव से अहंकारी, हिम्मतवाली साहसी और अपने मित्रों से बहुत अधिक लगाव रखने वाली और उनके प्रति दयालु होती है। मानव शरीर में मेष राशि का विचार मस्तक से किया जाता है।
२१ मार्च से २० अप्रैल के बीच तारीखों में जब व्यक्ति जन्म लेता है तब इन व्यक्तियों पर मंगल अपना पूरा प्रभाव रखता है एवं इन पर अपना शक्तिशाली प्रभाव डालता है।
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मेष राशि के जातक अपने जीवन में सभी अवरोधों को पार करते, उनको खत्म करते हुए सफलता की ओर बढ़ते रहते हैं। मेष राशि के जातक अपने जीवन में बहुत तरह के खतरों का सामना करते हैं और जीवन में कई तरह के अनुभवों को देखते हैं। मेष राशि के जातक जीवन में बहुत से परिवर्तन देखते हैं। यह लोग स्वभाव से बहुत ओजस्वी, हिम्मती, साहस के भरे हुए और दबंग होते हैं।
मेष राशि के जातकों बहुत अधिक ऊर्जा होती है, शक्ति होती है, किसी भी तरह की बुरी और प्रतिकूल परिस्थितियों में भी यह लोग आशावादी रहते हैं और हर तरह की मुसीबतों से लड़ते हुए आगे बढ़ते रहते हैं।
इनका स्वभाव सभी प्रकार की परंपराओं और अनुशासन का विरोधी होता है। सामान्य तौर पर इनका अपना पारिवारिक जीवन बहुत खुशहाल नहीं होता है, हां अगर इन्हें कोई ऐसा जीवनसाथी मिल जाए, जो इनकी हर बात माने और इनकी इच्छाओं के अनुसार चलने वाला हो, तब इनका जीवन आनंददायक रहता है।
मेष राशि करियर
इनके जीवन में भौतिक सफलता देखी जाए तो ऐसी कोई जगह नहीं है, जिसे यह संकल्प प्रशासनिक योग्यता और अच्छी संगठन शक्ति से प्राप्त ना कर सके।
मेष राशि के जातक जातकों पर मंगल का प्रभाव तो रहता ही है और साथ में सूर्य के प्रभाव से इनमें धन कमाने की लालसा और योग्यता बहुत होती है। जहां तक दूसरों पर अनुशासन की बात है यह लोग बहुत व्यवहार कुशल होते हैं, किसी भी मामलों में इनमें बहुत आवेश से ही काम लेने की प्रवृत्ति रहती है। बहुत लंबे चौड़े विचार करते रहते हैं।
जिससे कई बार ऐसा होता है कि इन्हें काफी नुकसान और धन हानि भी उठानी पड़ती है और इनका स्वभाव भी बड़ा ही खर्चीला रहता है। इस वजह से भी यह लोग जीवन में काफी उतार-चढ़ावों के शिकार हो जाते हैं।
उद्योग, धंधे और व्यापार से यह लोग जीवन में अच्छा धन प्राप्त करते हैं। धन कमाना और संपत्ति बनाने कि इनकी इच्छा बहुत मजबूत होती है। अपनी इसी मजबूत इच्छा शक्ति के द्वारा यह जीवन में काफी तरक्की करते हुए धन भी कमाते हैं। जितना कि इन्हें अपने भाग्य से भी प्राप्त नहीं होता है।
मेष राशि के जातकों में दृढ़ इच्छाशक्ति, संकल्प और अपने लक्ष्य को पूरा करने की बहुत जिद रहती है। इन लोगों में जन्मजात योद्धा होने के गुण होते हैं। संगठन शक्ति की योग्यता रखते हैं। अब वह संगठन चाहे जनसमूह को लेकर हो या फिर व्यापारिक हो, इनमें हर कार्य को अपने अनुसार ही करना पसंद होता है।
पूर्ण रुप से स्वतंत्र होकर अपना कार्य करते हैं। अगर इनके बीच या इनके कार्यों के बीच कोई हस्तक्षेप करें, तो यह बिल्कुल भी सहन नहीं कर पाते, या तो उसे हटा देते हैं या नहीं उस कार्य से हट जाते हैं।
जहां तक भौतिक सफलता या अधिकार की बात है। मेष राशि के जातक हर ऊंचाई तक पहुंचते हैं। अगर कोई इनकी व्यर्थ की प्रशंसा या चापलूसी करें, इन्हें बिल्कुल भी पसंद नहीं आता, उल्टा इन्हें गुस्सा आ जाता है।
मेष राशि के जातक सफल तो होते ही हैं, कई बार ऐसा भी देखा गया है कि बहुत अधिक सफलता पाने के कारण यह कुछ जिद्दी स्वभाव की हो जाते हैं। सोचना समझना कम कर देते हैं, जिसकी वजह से यह अपना ही नुकसान कर बैठे हैं।
वैसे तो मेष राशि के जातकों में बहुत बुद्धि होती है, कई तरह के विषयों में रूचि रखते हैं, नई नई योजनाएं बनाते रहते हैं, कुछ ना कुछ सोचने और करने में हमेशा व्यस्त रहते हैं।
मेष जातकों के विचार खुले होते हैं, अगर किसी भी कार्य को हाथ में लेते हैं तो बस उसे जल्दबाजी से खत्म करने की लगी रहती है और किसी भी कार्य की तह तक पहुंचना इन्हें बहुत अच्छा लगता है।
मेष राशि के जातक अपने खुले व्यवहार और अपने मुंहफट होने की वजह से इनके शत्रु या फिर पीठ पीछे बुराई करने वाले भी बहुत से लोग होते हैं।
मेष जातक बहुत महत्वकांक्षी होते हैं, ज्यादातर देखा गया है कि मेष राशि के जातक उत्तरदायित्व का पद संभालते हैं या फिर अपने जीवन में सफल होकर काफी धन एकत्र करते हैं।
मेष राशि के जातक अपने उदेश्य को पूर्ण करने के लिए कुछ भी कर गुजरने के लिए तैयार रहते है। एक मालिक के रूप में यह बहुत अनुशासन प्रिय और सख्त होते हैं
इनके कार्यालयों में अच्छा काम करने वाले के लिए यह बहुत अच्छे मालिक साबित होते हैं। अपने कार्य स्थलों पर बहुत अनुशासन प्रिय होते हैं। अपने वर्करों से इन्हें उचित कार्य कराना आता है।
मेष राशि के जातकों मन में ऐसी इच्छा रखते हैं कि चाहे इनका घर, व्यापार स्थल हो या कार्यक्षेत्र हो, सब इन्हें अपना मुखिया समझे।
मेष राशि के जातकों पर मंगल का प्रभाव होने की वजह से अच्छे स्वास्थ्य वाले होते हैं और मंगल इन्हें अच्छी शक्ति भी प्रदान करता है। अगर देखा जाए तो यह जो भी शारीरिक या मानसिक परेशानियों से परेशान होते हैं, वह अपनी ज्यादा मेहनत करने की आदत से ही इन्हें मिलती है।
प्रतिकूल परिस्थितियों तथा अनुपयुक्त समय में अपने उद्योग और व्यवसाय के प्रति अधिक लगाव की प्रवृत्ति बार बार निराशाओं के लिए उत्तरदायी होती है। जिसका परिणाम यह होता है कि इन्हें मानसिक परेशानी, स्नायाविक दुर्बलता या पेट की बीमारी की शिकायत हो जाती है। अगर शरीर के भागों में देखा जाए तो इन्हें सिर से संबंधित अंगों के रोगों की संभावना अधिक रहती है।
सावधानियाँ
मेष राशि के जातक अपने जीवन के प्रेम संबंधों में काफी कष्टों का सामना करना पड़ता है, वैसे तो यह अपने महिला मित्रों को बहुत समझते भी हैं और उन पर ध्यान भी रखते हैं, लेकिन फिर भी अक्सर अपने संबंधों को लेकर यह कुछ ऐसी गलतियां कर बैठे बैठते हैं, जिससे कि इन्हें परेशानियों उठानी पड़ती है।
इन्हें अपनी व्यर्थ की सोच को लेकर गलतियों पर रोक लगाने की कोशिश करनी चाहिए। जैसे कि मेष राशि के जातक बहुत क्रोधी स्वभाव के होते हैं, इन्हें गुस्सा बहुत जल्दी आता है, जो कि इनके जीवन की हर सफलता में बाधा देता है, इसलिए इन्हें अपनी क्रोधी स्वाभाव पर अंकुश लगाना चाहिए।
मेष राशि के जातकों में एक स्वाभाविक प्रवति यह होती है कि, यह किसी भी तरह के वाद विवाद में उचित-अनुचित का विचार किए बगैर ही उसमें पड़ जाते हैं, और बगैर सोचे समझे विवाद करने लगते हैं। यहां तक कि कई बार गलत पक्ष की ओर से ही लड़ने लग जाते हैं।
इनको अपने जीवन में कभी भी जल्दबाजी में निर्णय नहीं लेने चाहिए और ना ही अपने भविष्य को लेकर व्यर्थ की चिंता करनी चाहिए। इन्हें अपने जीवन में धैर्य से काम लेना चाहिए और जीवन में व्यर्थ के वाद विवाद लड़ाई झगड़ों से दूर रहना चाहिए, नहीं तो इनके लड़ाई-झगड़े मुकदमेबाजी तक भी पहुंच सकते हैं। यही नहीं इन्हें हार का सामना भी करना पड़ सकता है।
इन्हें अपने जीवन में शांत रहना चाहिए। अपनी आदतों से सावधान रहना चाहिए, संयम की सीमा को पार नहीं करनी चाहिए।
मेष राशि के जातकों को किसी भी प्रकार के मादक वस्तुओं के सेवन से बचना चाहिए।
एक विशेष बात और है कि मेष जातक बहुत भावुक होते हैं, जिसमें इन्हें बहुत संयम रखने की आवश्यकता रहती है।
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